छोटी सी बात

आज में आप लोगो से छोटी सी बात साझा करने जा रही हूँ। वैसे कहतें हैं कि नेकी कर दरिया में डाल लेकिन मैं आप लोगो को बता रही हूँ इसलिए क्योंकि शायद ये आपको थोड़ा प्रेरित कर दे।
   ख़ैर इन भारी भरकम वाक्यों से आप यह मत सोचने लगना की मैंने कुछ बड़ा किया है कृपया शीर्षक ध्यान में रखें।
   मैं पिछले कुछ सालों से अपने घर के लिए मिट्टी के गणेश जी बना रही हूँ । पिछले साल एक और परिचित के लिए भी मतलब दो प्रतिमाएं मैंने बनाईं थीं। इस साल मैंने चार प्रतिमाएं बनाई अन्य लोगो के लिए भी ।
   है ना छोटी सी बात लेकिन कहने का मर्म यह है कि प्रकृति को बचाने के लिए एक छोटी सी पहल । मैंने कुछ बड़ा न सही मेरे स्तर पर कुछ तो किया किसी और के लिए नही अपने लिए किया, अपनी आत्मसंतुष्टि के लिए किया। और ऐसी ही छोटी चीजे में करती रहती हूँ मसलन कभी वाहन, सड़क आदि सार्वजानिक स्थलों पर कचरा नही फेंकती , गीला कचरा सूखा कचरा पृथक    रखती हूँ, निजी की बजाए सार्वजानिक वाहन का उपयोग करने की कोशिश करती हूँ आदि।
   सूची देने के बाद भी कहूँगी की सूची नही देना चाह रही। ये चाह रही हूँ कि आप भी ऐसी छोटी चीजें कर के देखिए यकीन मानिए आपको ख़ुशी मिलेगी। आप हमेशा यह कह पाएंगे कि मैने ये (बुरा) नही किया। ये आपको एक अलग ही किस्म का आत्म विश्वास देगा गर्व की अनुभूति देगा।
   तो चलिए आप भी इस तरह की अपनी एक सूची बनाइए फिर दोस्तों को चिड़ाईएगा की मेने मेरे देश के लिए ये ये किया तुमने क्या किया ? हालाँकि ये सब काम किसी को दिखाने के लिए नही किये जाते लेकिन इससे रोचक ढंग से दूसरों को प्रेरित किया जा सकता है। देखिये इसे अन्यथा मत लीजिएगा मैं यहाँ देश को लेकर किसी की भावनाएं आहत नही करना चाह रही।

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